जीवन पर शायरी Jeevan Shayari जीवन में मोड़ बहुत है
मोड़ बहुत है
जीवन में मोड़
बहुत है
पहला
दूसरा
तीसरा
मुड़ना अनिवार्य है
जो पहले मोड़ में
मुड़ता है
वह उसी में
चला जाता है
जो दूसरी में
मुड़ता है
वह दूसरी में ही रह जाता है
और जो तीसरी में
वह तीसरी में हीं।
अमूमन यही होता है।
लेकिन एक मोड़
उसके आगे भी होता है
जो
अंतिम होता है।
आदमी वहीं
मुक्त होता है
सोता है
चिरनिद्रा में।
सदा सदा के लिए ।।
अन्वेषी
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